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    कौन है रोहित गोदारा और गोल्डी बरार गैंग:हरियाणा-पंजाब से फैला खौफ, इंटरनेशनल लिंक तक मजबूत नेटवर्क, दिशा पाटनी के घर फायरिंग से बॉलीवुड में दहशत

    9 hours ago

    बरेली में बॉलीवुड एक्ट्रेस दिशा पाटनी के घर पर हुई फायरिंग ने पूरे बॉलीवुड में सनसनी मचा दी है। शुरुआती जांच में हमले के पीछे रोहित गोदारा और गोल्डी बरार गैंग का नाम समाने आया है। यह वही गैंग है, जिसने पंजाब के सिंगर सिद्धू मूसेवाला की हत्या जैसी बड़ी वारदात को अंजाम दिया था। हरियाणा का रहने वाला रोहित गोदारा लॉरेंस बिश्नोई गिरोह का खास शूटर है, जिस पर हत्या और रंगदारी जैसे दर्जनों केस दर्ज हैं। वहीं गोल्डी बरार कनाडा से बैठकर पूरे नेटवर्क को ऑपरेट करता है और अपने गैंगस्टरों को इंटरनेट कॉलिंग के जरिए टारगेट देता है। अभी तक इनका आतंक मुंबई, हरियाणा, पंजाब, दिल्ली और राजस्थान तक था, लेकिन पहली बार इस गैंग ने यूपी में भी दस्तक दे दी है। लॉरेंस बिश्नोई की एंट्री यूपी के बरेली में होने से पुलिस महकमे में भी हड़कंप मचा हुआ है। आइए जानते है कि आखिर रोहित गोदारा और गोल्डी बरार कौन है? बरेली में दिशा पाटनी के घर पर इस गैंग ने क्यों फायरिंग की है? इस गैंग ने दिशा पाटनी के बरेली के घर को ही क्यों चुना, जबकि दिशा पाटनी मुंबई में रहती है? इन्हीं सब सवालों का जवाब जानने के लिए दैनिक भास्कर ऐप की टीम यूपी की राजधानी लखनऊ से ढाई सौ किलोमीटर दूरी पर स्थित बरेली पहुंची। जहां पर बॉलीवुड एक्ट्रेस दिशा पाटनी का परिवार रहता है। हमने वहां जाकर पुलिस अधिकारियों से लेकर दिशा पाटनी के पिता जगदीश सिंह पाटनी और पड़ोसियों से बातचीत की। हर एंगल को देखा, कोशिश की कि दैनिक भास्कर ऐप के दर्शकों को हम पूरी जानकारी दे सके। रोहित गोदारा: सिरसा से उठा, गैंगस्टर बना रोहित गोदारा हरियाणा के सिरसा जिले का रहने वाला है। शुरुआत में छोटे-छोटे अपराधों से लेकर अवैध वसूली, सुपारी किलिंग और गैंगवार तक उसने अपराध की दुनिया में अपनी पहचान बनाई। गोदारा ने कई युवाओं को अपने गिरोह में जोड़ा और सोशल मीडिया पर लगातार सक्रिय रहकर खुद को गैंगस्टर की तरह प्रस्तुत किया। उसके ऊपर हत्या, लूट, रंगदारी और गैंगस्टर एक्ट जैसे दर्जनों केस दर्ज हैं। गोल्डी बरार: कनाडा से ऑपरेट होने वाला नेटवर्क अपराध की दुनिया का बेताज बादशाह गोल्डी बरार का जन्म 1994 में पंजाब के श्री मुक्तसर साहिब में हुआ। 31 साल के गोल्डी बरार का असली नाम सतिंदरजीत सिंह बरार है। वह पंजाब का रहने वाला है और 2017 में पढ़ाई के बहाने कनाडा गया था। वहीं से उसने लॉरेंस बिश्नोई गैंग के साथ मिलकर अपना नेटवर्क मजबूत किया। गोल्डी बरार ने कनाडा में रहते हुए गैंग को डिजिटल तरीके से चलाना शुरू किया। फोन कॉल, व्हाट्सएप और इंटरनेट कॉलिंग के जरिए उसने भारत में सुपारी देने और अपराधों को अंजाम दिलवाने का सिलसिला शुरू किया। सिद्धू मूसेवाला मर्डर: दोनों गैंग का सबसे बड़ा क्राइम 2022 में पंजाब के मशहूर गायक सिद्धू मूसेवाला की हत्या में गोल्डी बरार और रोहित गोदारा का नाम सामने आया। इस मर्डर ने पूरे देश को हिला दिया। लॉरेंस बिश्नोई ने जेल से प्लान बनाया, गोल्डी बरार ने कनाडा से मॉनिटरिंग की और रोहित गोदारा गैंग के लड़के एक्टिव ग्राउंड पर रहे। इस घटना ने इन गैंग्स को इंटरनेशनल लेवल पर सुर्खियों में ला दिया। गैंग का नेटवर्क और नए साथी इन दोनों गैंग्स ने हरियाणा-पंजाब की सीमा से लेकर राजस्थान और दिल्ली तक अपना मजबूत नेटवर्क तैयार किया। रोहित गोदारा ने हरियाणा के युवाओं को जोड़कर अपनी फौज बनाई जबकि गोल्डी बरार ने कनाडा और दुबई से जुड़े अपराधियों को सहयोगी बना लिया। इनके गिरोह में मोनू ग्रुप, काला राणा, नरेश सेठी और टीनू हरियाणा जैसे नाम भी जुड़े रहे। कई बार ये ग्रुप एक-दूसरे के सपोर्ट में आते हैं तो कभी आपसी वर्चस्व की लड़ाई में भिड़ जाते हैं। सोशल मीडिया पर गैंगस्टर इमेज दोनों गैंग्स ने फेसबुक, इंस्टाग्राम और यूट्यूब जैसे प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल करके युवाओं में अपनी इमेज बनाई। गैंगस्टर स्टाइल फोटो, गानों में धमकी, वीडियो मैसेज और पोस्टर के जरिए ये गैंग अपने विरोधियों को खुली चेतावनी देते रहे। पंजाब-हरियाणा के कई गांवों में युवाओं ने इनके नाम से प्रभावित होकर अपने सोशल अकाउंट तक बनाए। पुलिस और एसटीएफ की कार्रवाई हरियाणा और पंजाब पुलिस के साथ-साथ दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल और एनआईए भी इन गैंग्स पर लगातार कार्रवाई कर रही है। कई एनकाउंटर में इनके साथी ढेर हुए, कई गिरफ्तार किए गए। रोहित गोदारा खुद फरार है और उस पर कई राज्यों में इनामी रकम घोषित है। वहीं गोल्डी बरार कनाडा में रहकर अब भी गैंग चला रहा है। भारत सरकार ने कनाडा से उसकी प्रत्यर्पण की मांग की है। इंटरनेशनल कनेक्शन गोल्डी बरार और रोहित गोदारा दोनों का नेटवर्क सिर्फ भारत तक सीमित नहीं रहा। इनके कनेक्शन दुबई, ऑस्ट्रेलिया और कनाडा तक फैले हैं। हवाला के जरिए पैसा ट्रांसफर होता है और वहीं से हथियार मंगाए जाते हैं। पंजाब और हरियाणा में पकड़े गए कई अपराधियों ने पुलिस पूछताछ में इस नेटवर्क की पुष्टि की है। गिरोह के बड़े अपराध ऐसा माना जाता है कि रोहित गोदारा और गोल्डी बरार गैंग को खत्म करना आसान नहीं है क्योंकि ये गैंग अब विदेशों से ऑपरेट हो रहा है। भारत की एजेंसियां कनाडा और दुबई सरकार से लगातार संपर्क कर रही हैं। वहीं हरियाणा और पंजाब पुलिस ने स्थानीय स्तर पर इनके गुर्गों पर नकेल कसने की कोशिश तेज कर दी है। रोहित गोदारा और गोल्डी बरार गैंग ने हरियाणा-पंजाब की कानून व्यवस्था को गहरा नुकसान पहुंचाया है। इन गैंग्स के कारण न सिर्फ कई निर्दोष लोगों की जान गई बल्कि युवाओं का एक बड़ा वर्ग अपराध की तरफ आकर्षित हुआ। अब देखना यह है कि पुलिस और इंटरनेशनल एजेंसियों की साझी कार्रवाई इन दोनों गैंग्स को किस हद तक रोक पाती है। अब रोहित गोदारा और गोल्डी बराड़ को जानिए...रोहित गोदारा: राजस्थान पुलिस ने रखा है 1 लाख का इनाम रोहित गोदारा बीकानेर में लूणकरणसर इलाके के कपूरीसर का रहने वाला है। वह साल 2010 से अपराध की दुनिया में है। उस समय उसकी उम्र महज 19 साल थी। बीकानेर शहर में रहते हुए मोबाइल रिपेयरिंग करता था, लेकिन धीरे- धीरे अपराध की दुनिया में आगे बढ़ता चला गया। राजस्थान में लॉरेंस बिश्नोई के खास गुर्गों में इन दिनों रोहित गोदारा का नाम सबसे ऊपर है।गैंगस्टर रोहित गोदारा के खिलाफ रेड कॉर्नर नोटिस के लिए 15 फरवरी को इंटरपोल को लेटर लिखा गया था। साथ ही देश के सभी एयरपोर्ट पर लुक आउट नोटिस जारी है।नेशनल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी (NIA) ने पर 5 लाख और राजस्थान पुलिस ने 1 लाख रुपए का इनाम भी घोषित कर रखा है। गोदारा के खिलाफ राजस्थान में 32 केस दर्ज है। इनमें हत्या, वसूली जैसे मामले हैं। पुलिस के अनुसार रोहित 13 जून 2022 को दिल्ली से दुबई भाग गया था।उसने पवन कुमार के नाम से एक फर्जी पासपोर्ट बनवाया था। पासपोर्ट बनाने के 2 दिन बाद रोहित दिल्ली से निकला था। दुबई जाने के बाद रोहित को दुबई में खतरा लगा था। इसके बाद अजरबैजान चला गया था। अजरबैजान में उसे पुलिस ने पकड़ा, लेकिन उसके खिलाफ कोई सबूत नहीं होने पर उसे छोड़ दिया था। अजरबैजान पुलिस ने रोहित को दो बार पकड़ा था। वहां से रोहित फिर दुबई चला गया और अभी वहीं है। अपनी पूरी गैंग को चला रहा है। गोल्डी बराड़ पंजाब के श्री मुक्तसर साहिब का रहने वाला है। साल 1994 में जन्म हुआ, माता पिता ने नाम रखा सतविंदर सिंह। पिता पुलिस में सब इंस्पेक्टर थे। बेटे को भी पढ़ा लिखा कर काबिल बनना चाहते थे, लेकिन सतविंदर उर्फ गोल्डी ने तो अपनी अलग ही राह चुन ली थी।गोल्डी बराड़ के चचेरे भाई गुरलाल बराड़ की चंडीगढ़ में हत्या हो गई। गुरलाल को इंडस्ट्रियल एरिया फेज-1 स्थित एक क्लब के बाहर 11 अक्टूबर 2020 की रात गोली मारी गई। वह पंजाब यूनिवर्सिटी (PU) का छात्र नेता था।गुरलाल बराड़ लॉरेंस बिश्नोई का सबसे करीबी था। गुरलाल बराड़ और लॉरेंस पंजाब यूनिवर्सिटी के स्टूडेंट ऑर्गेनाइजेशन ऑफ पंजाब यूनिवर्सिटी (SOPU) से जुड़े रहे। गुरलाल बराड़ की हत्या के बाद लॉरेंस गैंग ने सोशल मीडिया पर लिखा था कि अब नई जंग की शुरुआत है, सड़कों पर खून नहीं सूखेगा। गोल्डी बराड़: सिद्धू मूसेवाला और गोगामेड़ी की हत्या करवाई गोल्डी ने गोगामेड़ी की हत्या करवाई 5 दिसंबर 2023 को राष्ट्रीय राजपूत करणी सेना के अध्यक्ष सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की घर में घुसकर हत्या करवा दी गई। हत्या गोल्डी बराड़ ने करवाई, जिसमें गोल्डी ने माना था कि गोगामेड़ी के साथ उसका जमीनी विवाद चल रहा था। गोगामेड़ी की हत्या के बाद पूरे राजस्थान में दंगे जैसा माहौल बना। घटना में गोगामेड़ी का एक सुरक्षाकर्मी भी मारा गया था।UAPA के तहत गोल्डी बराड़ आतंकी घोषित गैंगस्टर गोल्डी बराड़ को केंद्रीय गृह मंत्रालय ने इसी साल एक जनवरी को UAPA के तहत आतंकी घोषित कर दिया। उसके खालिस्तानी आतंकी संगठन बब्बर खालसा इंटरनेशनल (BKI) से कनेक्शन मिले थे। गोल्डी बराड़ कुख्यात गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई का राइट हैंड था। इसके बाद केंद्रीय एजेंसियों द्वारा गोल्डी को आतंकी घोषित कर दिया। बरेली में बॉलीवुड एक्टर दिशा पाटनी के घर पर फायरिंग हुई है। इस मामले में दैनिक भास्कर ऐप रिपोर्टर अनूप मिश्रा ने बरेली के एसएसपी अनुराग आर्य से खास बातचीत की। सुनिए क्या कहना है एसएसपी का..... बरेली में दिशा पाटनी के घर पर फायरिंग की सूचना मिली थी। हमारी जितनी भी स्पेशलाइज्ड टीमें हैं, उन्हें मौके पर भेजा गया। परिवार वालों से बातचीत की गई और उनकी तहरीर ली गई। उसी आधार पर एफआईआर दर्ज की गई है। धारा 307 और आईटी एक्ट, जो कि 109 बीएनएस है, के तहत मामला दर्ज किया गया। घटना को वर्कआउट करने के लिए पाँच टीमों का गठन किया गया है। एक स्पेशल टीम एसपी ट्रैफिक के नेतृत्व में लगाई गई है, जो पूरे शहर के CCTV कैमरों और आई-ट्रिपल-सी कंट्रोल रूम की फुटेज कलेक्ट कर रही है। साइबर सेल को सोशल मीडिया अकाउंट्स की निगरानी के लिए लगाया गया है। जितने भी एंगल हैं, उन सभी पर काम किया जा रहा है और बहुत जल्द घटना को वर्कआउट किया जाएगा। गैंगस्टर गोल्डी बरार ने इसकी जिम्मेदारी ली है। उसकी फेसबुक पर की गई एक पोस्ट वायरल हुई थी। यह पोस्ट फॉरवर्ड होकर पुलिस तक पहुँची थी। जब अकाउंट ट्रेस किया गया तो वह उपलब्ध नहीं मिला। अब उस पोस्ट की जाँच की जा रही है कि वह असली है या फर्जी, किसने और किस अकाउंट से की है। इस पर भी साइबर सेल की टीम काम कर रही है। जहाँ तक फायरिंग की बात है, वहाँ 6-7 राउंड फायरिंग हुई। यह जानकारी स्थानीय लोगों और मौके पर मिले खोखों से मिली है। फॉरेंसिक टीम द्वारा खोखे कलेक्ट किए गए हैं। इससे यह पहचानने की कोशिश की जाएगी कि किस हथियार से वारदात हुई। CCTV से भी अहम सुराग मिले हैं। क्या आरोपियों का कनेक्शन लोकल से है या बाहर से? इस पर एसएसपी ने कहा कि अभी यह बताना जल्दबाजी होगी। जब केस वर्कआउट होगा, आरोपी पकड़े जाएंगे, तभी सभी तथ्य सामने आएंगे। एसएसपी ने बताया कि मैने खुद परिवार से काफी देर तक बैठकर बात की है और भरोसा दिलाया है कि उनकी सुरक्षा की जिम्मेदारी हमारी है। वहाँ चौबीसों घंटे पुलिस की मौजूदगी है। घर पर स्टैटिक गार्ड तैनात किया गया है, पुलिसकर्मी हथियारों के साथ लगाए गए हैं और परिवार को सुरक्षा का आश्वासन दिया गया है। एसएसपी अनुराग आर्य का साफ कहना है कि परिवार को सुरक्षा उपलब्ध करा दी गई है और इस वारदात में शामिल अपराधियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी। पिता जगदीश पाटनी से बातचीत दैनिक भास्कर ऐप रिपोर्टर अनूप मिश्रा ने दिशा पाटनी के पिता और रिटायर्ड डीएसपी जगदीश सिंह पाटनी से लंबी बातचीत की। उन्होंने घटना की पूरी कहानी और परिवार की स्थिति साझा की। प्रश्न- घटना उस वक्त हुई जब आप सो रहे थे। गोलियों की आवाज कैसी थी? कितने राउंड फायरिंग हुई? जगदीश पाटनी: देखिए, मैंने पहले भी कहा कि जब फायरिंग होती है तो कोई अनुमान नहीं लगा सकता कि कितने राउंड चले। यहां इस्तेमाल हुई पिस्टल स्थानीय नहीं थी। अगर हमारी पिस्टल होती तो एक बार ट्रिगर दबाने पर 3 राउंड निकलते, लेकिन इसमें तो एक बार दबाने पर 10-15 राउंड एक साथ निकल रहे थे। मैंने खुद अपनी आंखों से देखा कि जैसे वेल्डिंग की चिंगारियां निकलती हैं, वैसे ही गोलियों की लपटें सामने वाले घर तक चली गईं। प्रश्न- उस वक्त घर में कौन-कौन मौजूद था? जगदीश पाटनी: पूरा परिवार मौजूद था। मेरे घर में भतीजा, ताई और बाकी सभी लोग थे। करीब 5-6 लोग घर पर थे। प्रश्न- क्या पुलिस की कार्यवाही से संतुष्ट है? जगदीश पाटनी: पुलिस ने जिस तेजी से एक्शन लिया है, उसकी जितनी तारीफ की जाए कम है। एसएसपी अनुराग आर्य, एडीजी रमित शर्मा और बाकी अफसर तुरंत पहुंचे। पुलिस ने हमें भरोसा दिलाया है कि वे हमारे साथ हैं। प्रश्न- गोल्डी बराड़ गैंग का नाम सामने आया है। क्या कहना चाहेंगे? जगदीश पाटनी: इस बारे में मैं अभी कुछ नहीं कह सकता। सोशल मीडिया पर जो पोस्ट आया है, वही सबके सामने है। प्रश्न- सोशल मीडिया पर संत प्रेमानंद जी का नाम जोड़ा गया है, इस पर क्या कहेंगे? जगदीश पाटनी: प्रेमानंद जी हमारे पूज्य संत हैं। हमारी पूरी आस्था सनातन धर्म में है। हम उन्हें आदर और सम्मान देते हैं। अगर किसी पोस्ट को तोड़-मरोड़ कर पेश किया गया है तो वह हमारी बेटी की सोच नहीं है। अगर किसी को ठेस पहुंची है तो हम क्षमा चाहते हैं। हमारी इच्छा है कि कभी उनके दर्शन करने का मौका मिले। प्रश्न- सरकार से आपकी क्या मांग है? जगदीश पाटनी: सरकार से यही मांग है कि ऐसी घटनाएं दोबारा न हों। मैं खुद पुलिस परिवार से हूं, ऐसे मामले झेले हैं, लेकिन आम आदमी के लिए ये हालात सहना मुश्किल है। अपराधियों पर सख्त से सख्त कार्रवाई होनी चाहिए। प्रश्न- जब फायरिंग हुई तो आप लोग जाग गए थे? जगदीश पाटनी: हां, उस वक्त हम सो रहे थे। घर के कुत्तों ने भौंककर हमें जगाया। जैसे ही मैं बाहर देखने आया, बदमाशों ने फायरिंग शुरू कर दी। प्रश्न- क्या पहले भी किसी तरह की धमकी मिली थी? जगदीश पाटनी: नहीं, ऐसी कोई धमकी नहीं मिली थी। सोशल मीडिया पर छोटी-मोटी बातें और मैसेज आते रहते हैं, लेकिन हमने कभी गंभीरता से नहीं लिया था। इतना बड़ा हादसा होगा, इसकी उम्मीद नहीं थी। क्यों भड़के गैंग? खुशबू पाटनी के बयान से जुड़ा विवाद 30 जुलाई को दिशा पाटनी की बहन और पूर्व आर्मी ऑफिसर खुशबू पाटनी ने एक वीडियो जारी किया था। इसमें उन्होंने कथावाचक अनिरुद्धाचार्य के लिव-इन रिलेशनशिप वाले बयान पर आपत्ति जताई थी। खुशबू ने कहा था— “ऐसे लोगों का तो मैं मुंह तोड़ दूंगी। अगर ये शख्स सामने होता तो मैं इसे समझा देती कि मुंह मारना क्या होता है। ऐसे लोगों को मंच मिलना ही नहीं चाहिए।“ खुशबू ने आगे कहा— “ये दुखद है कि समाज के नामर्द लोग ऐसे बद्जुबान कथावाचकों को फॉलो कर रहे हैं। लड़कियों के चरित्र पर उंगली उठाना किसी भी धर्म या संस्कृति का प्रतिनिधित्व नहीं हो सकता।“ गैंगस्टरों ने इसी बयान को बहाना बनाकर सोशल मीडिया पर पोस्ट किया और फायरिंग की जिम्मेदारी ली। गैंग की धमकी- फिल्म इंडस्ट्री को भी चेतावनी फेसबुक पर वायरल पोस्ट में लिखा गया- “आज खुशबू और दिशा पाटनी के घर फायरिंग करवाई है। ये सिर्फ ट्रेलर था। अगर किसी ने धर्म और संतों का अपमान किया तो जिंदा नहीं छोड़ा जाएगा।“ पोस्ट में फिल्म इंडस्ट्री को चेतावनी दी गई कि कोई भी हमारे धर्म और संतों का अपमान न करे। इसमें कई कुख्यात गैंगस्टरों और बदमाशों को टैग भी किया गया।
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