SEARCH

    Saved articles

    You have not yet added any article to your bookmarks!

    Browse articles
    Select News Languages

    GDPR Compliance

    We use cookies to ensure you get the best experience on our website. By continuing to use our site, you accept our use of cookies, Privacy Policies, and Terms of Service.

    असाही-निक्केई ने पर्प्लेक्सिटी AI पर कॉपीराइट केस दायर किया:बिना इजाजत कंटेंट इस्तेमाल का आरोप; DNPA बोला- AI प्लेटफॉर्म्स फायदा उठा रहे, मुआवजा मिले

    2 weeks ago

    जापान की दो बड़ी मीडिया कंपनियों, निक्केई और असाही शिंबुन ने AI सर्च इंजन पर्प्लेक्सिटी (Perplexity) के खिलाफ मुकदमा दायर किया है। आरोप है कि उनकी खबरों को बिना इजाजत कॉपी, स्टोर और इस्तेमाल किया गया। जापानी प्रकाशकों की ही तरह कई भारतीय न्यूज़ प्रकाशक AI प्लेटफॉर्म्स के खिलाफ कानूनी कार्रवाई शुरू कर चुके हैं या करने की तैयारी में हैं। भारतीय प्रकाशक भी अपनी सामग्री की बड़े पैमाने पर स्क्रैपिंग का सामना कर रहे हैं। AI सिस्टम को ट्रेंड करने में इस्तेमाल हो रहीं खबरें भारतीय प्रकाशकों की मेहनत से तैयार खबरें और एनालिसिस का इस्तेमाल AI सिस्टम को ट्रेन करने और जवाब देने में हो रहा है। प्रकाशकों को इसका न तो इसका क्रेडिट दिया जा रहा है, न ही उनके प्लेटफॉर्म पर ट्रैफिर भेजा जा रहा है। इससे न सिर्फ उनकी कमाई पर असर पड़ रहा है, बल्कि AI द्वारा गलत या तोड़-मरोड़ कर पेश की गई खबरों से पत्रकारिता की विश्वसनीयता भी खतरे में है। ANI ने ओपन Ai के खिलाफ मुकदमा दायर किया था नवंबर 2024 में दिल्ली हाई कोर्ट में एशिया न्यूज़ इंटरनेशनल (ANI) ने ओपन Ai के खिलाफ भारत का पहला बड़ा मुकदमा दायर किया। ANI का आरोप है कि उसकी कॉपीराइटेड खबरों को बिना इजाजत ChatGPT को ट्रेन करने में इस्तेमाल किया गया और कुछ AI आउटपुट में ANI के नाम से गलत जानकारी दी गई। इससे उसकी साख को ठेस पहुंची। ओपनएआई ने कहा कि वह भारत में काम नहीं करता, इसलिए कोर्ट का अधिकार क्षेत्र नहीं बनता, लेकिन भारतीय कानूनी विशेषज्ञों का कहना है कि इससे कंपनी की जिम्मेदारी खत्म नहीं होती। दिल्ली हाई कोर्ट ने इस मामले को और विस्तार दिया, जिसमें इंडियन म्यूज़िक इंडस्ट्री को भी शामिल होने की इजाजत दी गई, जिससे कॉपीराइट की चिंता सिर्फ पत्रकारिता तक सीमित नहीं रही। DNPA बोला- AI प्लेटफॉर्म्स पत्रकारों की मेहनत का मुफ्त में फायदा उठा रहे डिजिटल न्यूज पब्लिशर्स एसोसिएशन (DNPA) का कहना है कि AI प्लेटफॉर्म्स भारतीय पत्रकारों और संपादकों की मेहनत का मुफ्त में फायदा उठा रहे हैं। भारत में अभी कोई साफ कानूनी या नियामक ढांचा नहीं है जो AI ट्रेनिंग के लिए कॉपीराइटेड सामग्री के उपयोग को नियंत्रित करे। DNPA का कहना है कि यह नीतिगत खालीपन पत्रकारिता की आर्थिक स्थिरता और लोगों के भरोसेमंद जानकारी तक पहुंच के अधिकार को खतरे में डाल रहा है। न्यूयॉर्क टाइम्स ने ओपनएआई के खिलाफ मुकदमा दायर किया अमेरिका में न्यूयॉर्क टाइम्स ने ओपनएआई के खिलाफ मुकदमा दायर किया है। यूरोप में कॉन्डे नास्ट और डेर स्पीगल जैसे प्रकाशकों ने AI कंपनियों के साथ लाइसेंसिंग डील की, जबकि कुछ AI क्रॉलर्स को ब्लॉक कर रहे हैं। जापान में निक्केई और असाही शिंबुन के मुकदमे इस मुद्दे की गंभीरता को दिखाते हैं। दोनों ही मामलों में 2.2 बिलियन येन से ज्यादा का हर्जाना मांगा गया है। बीबीसी ने भी AI प्लेटफॉर्म्स को अपनी सामग्री का इस्तेमाल बंद करने के लिए कानूनी नोटिस भेजा है। कुछ AI कंपनियों ने प्रकाशकों के साथ रेवेन्यू-शेयरिंग समझौते शुरू किए हैं, जो एक संतुलित और सहयोगी मॉडल की संभावना दिखाता है। उचित रेवेन्यू-शेयरिंग सिस्टम लागू करने की मांग भारतीय प्रकाशक चाहते हैं कि सरकार जल्द से जल्द हस्तक्षेप करे और AI कंपनियों के लिए जवाबदेही तय करे। DNPA ने नीति निर्माताओं से मांग की है कि AI प्लेटफॉर्म्स को कॉपीराइटेड सामग्री इस्तेमाल करने से पहले इजाजत लेनी पड़े और उचित रेवेन्यू-शेयरिंग सिस्टम लागू हो। उनका कहना है कि भारत को प्रकाशकों के अधिकारों की रक्षा में पीछे नहीं रहना चाहिए, साथ ही AI इनोवेशन को भी बढ़ावा देना चाहिए। DNPA बोला- भारत को एक संतुलित ढांचा बनाना चाहिए DNPA के एक प्रवक्ता ने कहा, “AI इनोवेशन जरूरी है, लेकिन यह पत्रकारिता को कमजोर करके नहीं हो सकता, जो लोकतंत्र का आधार है।” प्रकाशकों का मानना है कि भारत को एक ऐसा संतुलित ढांचा बनाना चाहिए जिसमें AI कंपनियां पारदर्शी और निष्पक्ष लाइसेंसिंग सिस्टम के तहत काम करें, प्रकाशकों को उनकी मेहनत का उचित मुआवजा मिले और लोग भरोसेमंद, सत्यापित पत्रकारिता पर निर्भर रहें, न कि अनियंत्रित AI सारांश पर। DNPA भारत के सबसे बड़े और भरोसेमंद डिजिटल, प्रिंट और टेलीविजन न्यूज प्रकाशकों का प्रतिनिधित्व करता है। इसने न्यूज इकोसिस्टम की आर्थिक स्थिरता और स्वतंत्र, निष्पक्ष पत्रकारिता के मूल्यों को बनाए रखने की अपनी प्रतिबद्धता दोहराई है।
    Click here to Read more
    Prev Article
    मोदी बोले- दुनिया में मेड इन इंडिया लिखी EV चलेगी:चांदी ₹1.16 लाख के ऑल टाइम हाई पर पहुंची, GST डिपार्टमेंट ने जोमैटो से ​​​​​​​₹40 करोड़ टैक्स मांगा
    Next Article
    आईटेल A90 स्मार्टफोन के लिमिटेड एडिशन का टीजर जारी:एआईवाना 2.0 वॉइस असिस्टेंट फीचर के साथ सितंबर में आएगा बजट फोन

    Related व्यापार Updates:

    Comments (0)

      Leave a Comment